मिशन रानीगंज में अक्षय कुमार ने मुख्य भूमिका निभाई है। वे जसवंत सिंह गिल की भूमिका में नजर आए हैं। इस फिल्म में अक्षय के साथ परिणीति चोपड़ा भी है दोनों की जोड़ी इस फिल्म में रिपीट हुई है।
फ़िल्म का प्लॉट
मिशन रानीगंज एक ऐसे एडिशनल चीफ माइनिंग इंजीनियर जसवंत सिंह गिल की कहानी है जो अपनी टीम के साथ 1889 में पश्चिम बंगाल के रानीगंज इलाके में एक बाढ़ में डूबी हुई कोयला खदान से 65 मीनिंग वर्कर्स को निकालते हैं। इस माइंस की स्थिति इतनी बुरी होती है कि मजदूर खुद के जिंदा बचने की उम्मीद छोड़ देते हैं। तीन दिन तक चलने वाले इस रेस्क्यू ऑपरेशन के समय गिल और उनकी टीम को कई चैलेंज और मुसीबत का सामना करना पड़ता है लेकिन आखिरकार वह अपने मिशन में सफल हो जाते हैं। जिससे यह मिशन हमारे देश के सबसे महान और गंभीर रेस्क्यू ऑपरेशंस में से एक बन जाता है।
यह सब कुछ पढ़ कर आप समझ ही गए होंगे कि यह फिल्म एक असली कहानी पर बनाई गई। यह कहानी है रानीगंज कोल फील्ड्स की और साल था 1989।
फिल्म में एक्टिंग
फिल्म में शुरुआती पार्ट में अक्षय कुमार की एक्टिंग उनकी पुरानी फिल्मों की तरह ही है उन्होंने फिल्म में अच्छा काम किया है। लेकिन फिल्म के आखिरी 30 मिनट में उनके किरदार को चमकने का मौका मिलता है और उन्होंने इस मौके को पूरी तरह से अपना बनाया है। अगर फिल्म की हीरोइन परिणीति चोपड़ा की बात की जाए तो वह फिल्म में कुछ कम नजर आती हैं लेकिन जब भी स्क्रीन पर दिखाई देती हैं तब स्क्रीन एकदम से चमक उठती है। इसके अलावा फिल्म में एक बहुत अच्छी सपोर्टिंग कास्ट भी है जिसमें कुमुद मिश्रा से लेकर रवि किशन तक सभी ने बेहतरीन ऐक्टिंग की है। इन सभी के किरदारों और उनकी एक्टिंग को फिल्म की जान कहा जाना गलत नहीं होगा। इन सभी लोगों के बारे में जितना भी कहा जाए उनकी जितनी भी तारीफ की जाए वह कम होगी।
यह अक्षय कुमार की अभिनीत सर्वश्रेष्ठ फिल्मों में से एक है।
फिल्म के गाने
इस फिल्म में कुल पांच गीत हैं। वहीं इस फिल्म के गायक ,म्यूजिक डायरेक्टर और लिरिसिस्ट सतिंदर सरताज हैं। इसके अलावा कई गानों की लिरिक्स कुमार विश्वास और कौशल किशोरे ने लिखी हैं। इस फिल्म के गानों के गायकों में आरको ,बी प्राक , स्टेबिन बिन , हंसिका परीक , विशाल मिश्रा जैसे अच्छे-अच्छे गायक शामिल हैं।
यानी कुल मिलाकर कहा जा सकता है कि इस फिल्म का साउंड ट्रैक बेहद खूबसूरती से बनाया गया है। इस फिल्म का बैकग्राउंड स्कोर भी बहुत अच्छा है। फिल्म का गाना ‘ जीतेगा ‘ जब भी बजता है तब तब रोंगटे खड़े हो जाते हैं।
फ़िल्म के रिव्यु और रेटिंग्स
इस फिल्म को आईएमडीबी ने 8.1 की रेटिंग दी है। वही गैजेट्स 360 ने इस फिल्म को 5 में से 4.6 की रेटिंग दी है।
मिशन रानीगंज एक बहुत ही एक्साइटिंग और इंगेजिंग फिल्म है जो दर्शकों को उनकी कुर्सी से चिपकाए रखती है। यह फिल्म जो की एक बायोपिक ड्रामा है मात्र दो घंटे में ही आपको एक स्मूथ राइट पर ले जाती है। फिल्म बहुत सारे इमोशंस से भरी हुई है लेकिन इसकी एंडिंग आपको खुश कर देगी। इस फिल्म में कोयले की खदान के जो सीन है वह आपका दम घुटाने वाले हो सकते हैं। मिशन रानीगंज में पूरे सिस्टम में मौजूद गड़बड़ी को सक्सेसफुली पता लगाया जाता है और यह फिल्म यह संदेश देती है कि भारत में आज भी मजदूरों का कितना शोषण होता है। अधिकारियों के भ्रष्टाचार और खदानों के मालिकों के लालच की वजह से खदान में काम करने वाले मजदूरों के जीवन को पूरी तरह दांव पर लगा दिया जाता है। अगर टेक्निकल एस्पेक्ट की बात की जाए तो फिल्म को अच्छी तरह शूट किया गया है खासकर खदान वाले सीन्स को बहुत अच्छी तरह शूट किया गया है। वहीं इस फिल्म की कमियों की बात की जाए तो फिल्म कहीं-कहीं पर अननेसेसरीली लाउड लगती है। फिल्म में कुछ ऐसे सीन है जिनकी जरूरत नहीं थी। वहीं अगर फिल्म के विलेन की बात की जाए तो वह एक स्टीरियोटाइप रोल है। इसके अलावा फिल्म में ऐसी कोई भी कमी नहीं है जो आपको यह फिल्म देखने से रोक सके।
यह फिल्म आपकी वॉच लिस्ट में सबसे ऊपर होनी चाहिए। अगर इसके साथ रिलीज हुई फिल्मों के कंपैरिजन में इसकी बात की जाए तो यह उन फिल्मों से कईं बेहतर फिल्म है।